देश

अंतरिक्ष से 18 दिन बाद सकुशल पृथ्वी पर वापस लौटे कैप्टन शुभांशु शुक्ला

भारतीय अंतरिक्ष यात्री और वायुसेना कैप्टन शुभांशु शुक्ला अंतरिक्ष यात्रा पूरी कर पृथ्वी पर वापस लौट आए है। उनकी इस यात्रा पर करीब 548 करोड़ रुपये खर्च किए गए है। वे Space X के अंतरिक्ष मिशन Axiom- के तहत 18 दिनों तक अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) पर रहे। उनके साथ इस मिशन पर अमेरिका, पोलैंड और हंगरी के अंतरिक्ष यात्री भी शामिल थे। शुभांशु ISS की यात्रा करने वाले पहले भारतीय नागरिक है और राकेश शर्मा के बाद अंतरिक्ष में कदम रखने वाले दूसरे भारतीय नागरिक है।

इस तरह आए वापस

25 जून को शुभांशु ने अंतरिक्ष यात्रा की शुरुआत की थी। जिसके लगभग 22.5 घंटे का सफर तय करके बाद वो 14 जुलाई को पृथ्वी पर वापस लौटे। दोपहर 3.01 बजे अमेरिका के सैन डिएगो में तट के पास प्रशांत महासागर में उन्हें स्प्लैशडाउन किया गया। स्पेस एक्स के ड्रैगन कैप्सूल के स्प्लैशडाउन से निकलते हुए शुभांशु की पहली तस्वीर सामने आई है। इस दौरान शुभांशु के चेहरे पर सफलता की चमक साफ नजर आ रही थी। उनके चेहरे पर जीत की मुस्कुराहट थी। बाहर आकर उन्होंने हाथ हिलाकर सभी का अभिवादन किया और अपनी खुशी व्यक्त की। अभी सभी अंतरिक्ष यात्रियों को कैप्सूल से निकालकर एक विशेष रिकवरी जहाज पर रखा गया है। जहा उनकी कई मेडिकल जांच की जायेगी।

शुभांशु ने इस मिशन के दौरान कई प्रयोग किए। शुभांशु द्वारा इस मिशन के दौरान किए गए प्रयोग भारत के गगनयान मिशन को मजबूत करेंगे जिसकी 2027 में लॉन्च होने की संभावना है।

प्रधानमंत्री और गृह मंत्री ने दी बधाई

अंतरिक्ष से सफलतापूर्वक धरती पर लौटने पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी शुभांशु को बधाई देते हुए X अकाउंट पर लिखा कि “मैं पूरे देश के साथ ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला का स्वागत करता हूं, जो अपने ऐतिहासिक अंतरिक्ष मिशन से पृथ्वी पर लौट आए हैं. अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन का दौरा करने वाले भारत के पहले अंतरिक्ष यात्री के रूप में उन्होंने अपने समर्पण, साहस और अग्रणी भावना से करोड़ों सपनों को प्रेरित किया है. यह हमारे अपने मानव अंतरिक्ष उड़ान मिशन गगनयान की दिशा में एक और मील का पत्थर है”।

इसके साथ ही गृहमंत्री अमित शाह ने भी X अकाउंट पर लिखा “अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन की यात्रा के बाद पृथ्वी पर सफलतापूर्वक वापसी पर ग्रुप कैप्टन सुभांशु शुक्ला को मेरी हार्दिक बधाई। भारत की महानता की खोज में, उन्होंने विजय की एक ऐसी कहानी लिखी है जिसने न केवल हमारा गौरव बढ़ाया है, बल्कि भारतीय अंतरिक्ष यात्रियों और वैज्ञानिकों में अपनी प्रतिभा और साहस के प्रति विश्वास भी जगाया है”
“इस यात्रा में अर्जित ज्ञान और अनुभव भविष्य के अंतरिक्ष अभियानों में भारत के लिए महत्वपूर्ण होंगे”।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button